श्रीमद् भागवत कथा ज्ञान यज्ञ का समापन हुआ: पंडित दिनेश पाठक ने कहा – सूर्य धन के देवता है

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दतिया41 मिनट पहले

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गंजी हनुमान मंदिर में आयोजित 7 दिवसीय श्रीमद्भागवत कथा का शनिवार को समापन हुआ। कथा वाचक प. दिनेश पाठक ने आखिरी दिन भागवत भक्ति के विविध आयामों पर प्रकाश डाला। इस दौरान पूरा पांडाल ‘बांके बिहारी लाल की जय’ के जयकारों से गूंज उठा।

कथा की शुरूआत वैदिक मंत्रोच्चार के बीच यजमान परिवार की ओर से पूजन अर्चन और दीप जलाने के साथ शुरू हुआ। कथा व्यास ने बताया कि श्रीमदभागवत का अर्थ है भगवान में रत, लीन हो जाना। साथ ही उन्होंने बताया कि सूर्य भगवान धन के देवता है, सूर्य भगवान को प्रत्यक्ष रूप से आते जाते देखा जा सकता है। वह हमें 12 घंटे प्रकाश देते हैं और सोते भी जगाते हैं लेकिन उनकी ओर से किसी भी व्यक्ति के पास कोई बिल नहीं आता है। इसके बदले चंद लोग ही ऐसे होंगे जो उन्हें जल चढ़ाते हैं। सूर्य को अर्घ्य देने से भाग्योदय होता है और मान सम्मान में वृद्धि होती है। सूर्य को अर्घ्य देने से भाग्योदय होता है और मान सम्मान में वृद्धि होती है।

सूर्य को जल चढ़ाने के साथ ”ऊँ नमो भगवते श्री सूर्याय क्षी तेजसे नम: ऊँ खेचराय नम:” मंत्र का जाप करने से बल, बुद्धि, विद्या और दिव्यता प्राप्त होगी। इसके अलावा रोजाना सूर्य को जल चढ़ाने से सूर्य देव का प्रभाव शरीर में भी बढ़ता है। इससे आप में ऊर्जा में वृद्धि होती है।

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