देश के किसी भी पत्रकार का उत्पीड़न बर्दाश्त नहीं – एस० एन० विश्वकर्मा

अरविन्द तिवारी की रिपोर्ट
रायपुर, 20 नवंबर – देश में किसी भी पत्रकार का उत्पीड़न अब बर्दाश्त नहीं किया जायेगा। उन्होंने स्पष्ट शब्दों में कहा कि पत्रकारिता लोकतंत्र का चौथा स्तम्भ है और इसे दबाने की कोशिश करने वालों के खिलाफ सख्त कदम उठाये जायेंगे। देश में किसी भी पत्रकार का उत्पीड़न अब बर्दाश्त नही किया जायेगा। संगठन का मुख्य उद्देश्य पत्रकारों के हितों की रक्षा करना और उन्हें हर संभव सहायता प्रदान करना है।
उक्त बातें इंडियन कौंसिल ऑफ प्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष एस.एन. विश्वकर्मा ने अरविन्द तिवारी से चर्चा करते हुये कहा। उन्होंने संगठन के बारे में विस्तृत जानकारी देते हुये बताया कि यह संगठन वर्तमान में चौदह राज्यों और उत्तरप्रदेश के चालीस जिलों में सक्रिय रूप से काम कर रहा है। संगठन पत्रकारों के उत्पीड़न के खिलाफ न्याय दिलाने और उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिये लगातार संघर्ष कर रहा है।
उन्होंने बताया कि संगठन जल्द ही देश के सभी राज्यों में विस्तार करेगा, इस संगठन का लक्ष्य आने वाले समय में देश के हर राज्य और जिले में अपनी उपस्थिति दर्ज कराना है। उन्होंने यह भी बताया कि संगठन गरीब और कमजोर तबके के लोगों को न्याय दिलाने के लिये भी काम कर रहा है। संगठन ने दस अलग-अलग प्रकोष्ठ बनाये हैं जो एक-दूसरे का पूरक बनकर काम करते हैं। उन्होंने बताया कि स्थाई सदस्यता ग्रहण करने वाले लोगों के लिये ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन की सुविधा प्रदान की गई है। रजिस्ट्रेशन के चौबीस घंटे के भीतर सदस्य को उसका परिचय पत्र पीडीएफ के रूप में भेज दिया जाता है। उन्होंने संगठन के कार्यों की जानकारी देते हुये कहा कि पदाधिकारी दिन-रात संगठन के सदस्यों की सेवा में तत्पर रहते हैं। उन्होंने बताया कि प्रदेश स्तर के पदाधिकारी नियमित रूप से जिलों का दौरा करते हैं और संगठन के विस्तार के लिये काम कर रहे हैं। संगठन के कार्यों और नीतियों को सुचारू रूप से लागू करने के लिये सप्ताह में दो बार वर्चुअल कॉन्फ्रेंस आयोजित की जाती है , जिसमें राष्ट्रीय और प्रदेश स्तर के पदाधिकारी भाग लेते हैं। संगठन विस्तार के लिये हर जिले में पदाधिकारी दौरा कर रहे हैं और संगठन की गतिविधियों को मजबूती से आगे बढ़ा रहे हैं। संगठन के सभी सदस्य और पदाधिकारी एकजूट होकर अन्याय के खिलाफ खड़े हैं और न्याय सुनिश्चित कर रहे हैं। उन्होंने स्पष्ट किया कि संगठन पत्रकारों के उत्पीड़न और उनके अधिकारों के हनन के खिलाफ कड़े कदम उठाने में पीछे नहीं हटेगा।
संगठन का मानना है कि पत्रकारिता का कार्य समाज में सत्य और न्याय की स्थापना करना है और इसे सुरक्षित रखना सभी का कर्तव्य है। इंडियन कौंसिल ऑफ प्रेस ने पत्रकारों के समर्थन और सुरक्षा के लिये अपनी प्रतिबद्धता जताई है। संगठन ने यह संदेश दिया है कि वह हर पत्रकार के साथ खड़ा रहेगा और उनके हितों की रक्षा के लिये हर संभव प्रयास करेगा।