बाल-बाल बची वनरक्षक की जान: बोरी से निकलकर ड्राइविंग सीट के पीछे बैठा अजगर, रेस्क्यू के बाद जंगल में छोड़ने के दौरान हुआ हादसा

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टीकमगढ़22 मिनट पहले

जिले में लगातार सांपों का रेस्क्यू कर रहे वनरक्षक हर्ष तिवारी की जान बाल-बाल बच गई। उन्होंने बम्होरी खास गांव से अजगर का रेस्क्यू किया और उसे बोरी में बंद कर अपने चार पहिया वाहन की डिग्गी में रख लिया। इसके बाद जब टीकमगढ़ पहुंचकर उन्होंने जंगल में छोड़ने के लिए डिग्गी से अजगर को निकालना चाहा तो वह बोरी में नहीं मिला।

घबराकर जब उन्होंने गाड़ी में देखा तो अजगर सांप ड्राइवर सीट के ठीक पीछे बैठा दिखाई दिया। इसके बाद जब उन्होंने अजगर को पकड़ना चाहा तो वह डेस्क बोर्ड के अंदर चला गया। परेशानी की हालत में हर्ष तिवारी अपनी गाड़ी लेकर रामकुमार शर्मा के गैरेज पर पहुंचे। काम की व्यस्तता के चलते उन्होंने गाड़ी अपने गैरेज के पीछे खड़ी करवाली। रविवार रात जब गाड़ी में देखा तो अजगर डेस्क बोर्ड से निकलकर डिग्गी में बैठा मिला।

रामकुमार शर्मा ने तुरंत इसकी सूचना वनरक्षक हर्ष तिवारी को दी। जानकारी लगते ही वे मौके पर पहुंचे और अजगर को गाड़ी से कड़ी मशक्कत के बाद पकड़ा जा सका। इसके बाद उसे एक मजबूत डिब्बे में बंद किया और रविवार को मधुबन के जंगल में जाकर उसे छोड़ दिया।

लापरवाही में हो सकती थी दुर्घटना

हर्ष तिवारी ने बताया कि अजगर बोरी से निकलकर ड्राइविंग सीट के ठीक पीछे पहुंच गया था। अगर वह गले में लिपट जाता तो बड़ी घटना हो सकती थी। क्योंकि अजगर की पकड़ बहुत मजबूत होती है और उसे आसानी से छुड़ाना संभव नहीं होता। गनीमत रही कि समय रहते उसे देख लिया गया। वरना कोई बड़ी दुर्घटना हो सकती थी।

शनिवार को किया था रेस्क्यू

11 नवंबर शनिवार को वनरक्षक हर्ष तिवारी ने बम्होरी खास गांव से अजगर का रेस्क्यू किया था। अजगर को पकड़कर एक बोरी में बंद कर लिया था। गांव से लौटते समय बोरी उन्होंने अपनी चार पहिया गाड़ी की डिग्गी में रख ली थी, लेकिन जब टीकमगढ़ पहुंच कर देखा तो अजगर बोरी से बाहर निकालकर गाड़ी सीट पर बैठ गया था।

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