Chhattisgarh

नौकरी लगाने के नाम पर करोड़ो की ठगी करने के चार आरोपी गिरफ्तार

अरविन्द तिवारी की रिपोर्ट

बिलासपुर – संगठित तौर पर अलग – अलग जिलों के लगभग दो दर्जन से अधिक बेराजगार युवक – युवतियों को पीडब्लूडी , पुलिस विभाग , जेल विभाग , पीएचई विभाग , वन विभाग , शिक्षा विभाग में नौकरी लगाने के नाम पर करोड़ों रूपये की ठगी करने के चार आरोपियों को थाना सिविल लाइन पुलिस ने गिरफ्तार करने में सफलता हासिल की है।‌ मामले का मुख्य आरोपी पूर्व में भी नौकरी लगाने के नाम पर ठगी करने के आरोप में जेल जा चुका है।


अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक राजेन्द्र जायसवाल ने प्रेस कांफ्रेंस में खुलासा करते हुये बताया थाना सिविल लाईन को सूचना प्राप्त हुई कि कपिल गोस्वामी एवं उसके साथी कुछ बेराजगार लड़को से नौकरी दिलाने के नाम पर फर्जी नियुक्ति प्रमाण पत्र तैयार कर पैसा लेकर ठगी कर रहे है। उक्त सूचना पर तत्काल पुलिस अधीक्षक महोदय द्वारा आरोपियो तथा घटना के संबंध में पतासाजी हेतु अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक शहर के पर्यवेक्षण तथा नगर पुलिस अधीक्षक सिविल लाईन के नेतृत्व में विशेष टीम गठित की गई।

टीम द्वारा पतासाजी किये जाने पर प्रार्थीगण गोविन्द चंद्रा पिता जतीराम चंद्रा उम्र 35 वर्ष निवासी भातमाहूल , थाना – हसौद , जिला – सक्ती छग , नंद कुमार शांडिल्य पिता दुर्गा प्रसाद शांडिल्य उम्र 28 वर्ष निवासी ध्रुवाकारी थाना पचपेड़ी जिला बिलासपुर छग , नितीश कुमार भारद्वाज पिता देवेन्द्र कुमार भारद्वाज उम्र 34 वर्ष निवासी ध्रुवाकारी थाना पचपेड़ी जिला बिलासपुर छग और नितीश कुमार भारद्वाज पिता देवेन्द्र कुमार भारद्वाज उम्र 34 वर्ष निवासी ध्रुवाकारी थाना पचपेड़ी जिला बिलासपुर छग मिलेे , जो कि कपिल गोस्वामी एवं उसके साथी गुरू शंकर दिव्य , ईश्वर चौहान एवं अन्य को लगभग 22 लाख रूपये पृथक – पृथक देना बताये। प्रार्थियों की रिपेार्ट पर धोखाधड़ी , कूटरचना एवं संगठित अपराध की धाराओं में कुल चार प्रकरण पंजीबद्ध किये गये। इसी दौरान आरोपियों की गिरफ्तारी हेतु रेड कार्यवाही की गई। आरोपी कपिल गोस्वामी तथा गुरू शंकर दिव्य , पुरूषोत्तम तिवारी तथा राजेन्द्र पलांगे अपने निवास पर मिले , जिनको अभिरक्षा में लेकर पूछताछ की गई। आरापियों के पास से प्रार्थियों के नाम से बने फर्जी नियुक्ति प्रमाण पत्र , फर्जी सेवा पुस्तिका , अलग – अलग शासकीय विभागो की सील मुहर एवं जेल प्रहरी की वर्दी जप्त कर आरोपियो से विस्तृत पूछताछ की जा रही है।

आरोपियों के तरीका वारदात – मुख्य आरोपी कपिल गोस्वामी अपने साथी सरपंच प्रतिनिधी ईश्वर चौहान , तथाकथित पत्रकार गुरू दिव्यशंकर , राजेश पलांगे के साथ मिलकर शासकीय नौकरी की चाह रखने वाले बेरोजगार युवकों की पहचान करते थे और उन्हें शासकीय नौकरी लगाने का प्रलोभन देते थे। सरपंच प्रतिनिधी ईश्वर चौहान , तथाकथित पत्रकार गुरू दिव्यशंकर , राजेश पलांगे एवं अन्य साथी बेरोजगार युवकों को इस बात का भरोसा दिलाते थे कि कपिल गोस्वामी का संपर्क सभी शासकीय विभागो में है। कपिल गोस्वामी महंगी गाड़ी इनोवा में ड्रायवर एवं बाॅडीगार्ड के साथ घूमता था। जब बेरोजगार युवक इनके झांसे में आ जाते , तब कपिल गोस्वामी के साथियों के द्वारा अलग अलग शासकीय विभागो में नौकरी की रकम बतायी जाती थी। बेरोजगार युवक अपने घर के रिश्तेदारों , परिजनों से उधार रकम लेकर , घर के जेवर गिरवी रखकर नौकरी की चाह में पैसा एकत्र कर कपिल गोस्वामी देते थे। रकम देने पर युवकों को फर्जी नियुक्ति प्रमाण पत्र दिखाकर डाॅक्यूमेंट वेरीफिकेशन के नाम पर उनके ओरिजनल डाॅक्यूमेंट रखकर वेरीफिकेशन के बाद नियुक्ति पत्र दिये जाने का आश्वासन दिया जाता था। मामले का मुख्य आरोपी कपिल गोस्वामी शातिर किस्म का ठग है जो पूर्व में भी नौकरी लगाने के नाम पर ठगी करने के आरोप में जेल जा चुका है।

गिरफ्तार आरोपीगण –

मुख्य आरोपी – कपिल गोस्वामी उर्फ कपिलेश्वर निवासी – अकलतरा , ज़िला – जाँजगीर चाँपा , तथाकथित पत्रकार गुरूशंकर दिव्य , राजेंद्र पलाँगे निवासी – जैजेपुर , ज़िला – सक्ती और पुरुषोत्तम तिवारी निवासी – उस्लापुर , ज़िला – बिलासपुर (छत्तीसगढ़) ।

जप्त संपत्ति –

तेरह लाख रूपये नगदी रकम , एक इनोवा कार कीमती बीस लाख रूपये एवं बैंक एकाउंट में सीज करायी गई तीन लाख रूपये , सात नग मोबाईल और फर्जी नियुक्ति पत्र तथा फर्जी सेवा पुस्तिका।

अपील – पूछताछ पर आरेापियों के द्वारा जांजगीर चाम्पा , बिलासपुर , सक्ती , रायपुर , बलौदाबाजार जिले के लगभग पच्चीस – तीस युवकों से धोखाधड़ी किया जाना स्वीकार किया गया है , जिनसे संपर्क किया जा रहा है। बिलासपुर पुलिस द्वारा अपील की जाती है कि इस तरह के ठगो से सावधान रहे तथा किसी भी व्यक्ति द्वारा नौकरी लगाने का झांसा देकर पैसे की मांग करने पर इसकी सूचना पुलिस को देवें।

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